यूपी में मौसम की मार से फसलें बर्बाद, योगी सरकार ने राहत कार्यों को दी रफ्तार

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में राज्य के कई हिस्सों में हुई तेज बारिश, ओलावृष्टि, आंधी-तूफान और वज्रपात से हुए नुकसान को गंभीरता से लेते हुए संबंधित जिलों के अधिकारियों को राहत कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं।

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उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में राज्य के कई हिस्सों में हुई तेज बारिश, ओलावृष्टि, आंधी-तूफान और वज्रपात से हुए नुकसान को गंभीरता से लेते हुए संबंधित जिलों के अधिकारियों को राहत कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी प्रभावित क्षेत्रों का तुरंत दौरा करें और वहां आवश्यक राहत और बचाव कार्यों की शुरुआत करें, ताकि पीड़ित लोगों को जल्द से जल्द सहायता मिल सके। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि किसानों की फसलों को हुए नुकसान का सही आकलन किया जाए और प्रभावित किसानों को समय पर मुआवजा भी दिया जाए। उन्होंने अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि किसी भी जरूरतमंद को सरकारी सहायता से वंचित न किया जाए। साथ ही, प्रभावित परिवारों को हर संभव मदद उपलब्ध कराई जाए, चाहे वह राशन, आश्रय, या इलाज से जुड़ी हो।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि जिन क्षेत्रों में फसलों को बारिश, ओलावृष्टि या तूफान से नुकसान हुआ है, वहां नुकसान का सही और पारदर्शी आकलन कर जल्द से जल्द रिपोर्ट प्रशासन को भेजी जाए। उन्होंने कहा कि किसानों को उनके हुए नुक्सान के हिसाब से सही मुआवजा दिया जाए, ताकि उन्हें आर्थिक राहत मिल सके।

मुख्यमंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि राहत कार्यों में किसी भी प्रकार की लापरवाही या देरी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सभी ज़िलाधिकारी और संबंधित विभाग यह सुनिश्चित करें कि जरूरतमंद लोगों को समय पर मदद मिले और राहत सामग्री की आपूर्ति में कोई बाधा न आए। उन्होंने अधिकारियों से यह भी कहा कि प्रभावित किसानों और परिवारों से सीधा संवाद किया जाए और उनकी समस्याएं प्राथमिकता के आधार पर हल की जाएं।

मूसलाधार बारिश बनी किसानों की मुसीबत

इस समय उत्तर प्रदेश के औरैया जिले में हो रही मूसलाधार बारिश ने किसानों की परेशानी बढ़ा दी है। खासकर गेहूं की तैयार और कटाई के लिए तैयार खड़ी फसल को भारी नुकसान पहुंचा है। खेतों में पानी भर जाने के कारण फसलें सड़ने लगी हैं, जिससे किसानों की सारी मेहनत पर पानी फिर गया है।

किसानों को उम्मीद थी कि इस बार अच्छी फसल के जरिए उन्हें अच्छा मुनाफा मिलेगा, लेकिन अचानक आई बारिश ने उनकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। खेतों में जहां फसल काटी जा चुकी थी, वहां अबगीली मिट्टी और पानी भरने के कारण गेहूं को सुरक्षित करना भी मुश्किल हो गया है।कई किसान दिन-रात खेतों में मेहनत कर फसल को बचाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन मौसम की मार के सामने वे लाचार नजर आ रहे हैं। किसानों की मांग है कि प्रशासन स्थिति का तत्काल संज्ञान ले और नुकसान का सर्वे कराकर उन्हें उचित मुआवजा प्रदान करे।

प्रभावित किसानों को जल्द मिलेगी सरकारी मदद

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर प्रदेश सरकार प्रभावित किसानों को जल्द से जल्द सहायता उपलब्ध कराने के लिए सक्रिय रूप से काम कर रहें है। जिन इलाकों में फसलों को नुकसान हुआ है, वहां नुकसान का सही आकलन कर रिपोर्ट शासन को भेजी जा रही है, ताकि किसानों को समय पर मुआवजा और अन्य राहत उपलब्ध कराई जा सके। हालांकि राज्य सरकार द्वारा राहत कार्य लगातार चलाए जा रहे हैं, लेकिन लगातार हो रही प्राकृतिक आपदाओं के चलते किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है। गेहूं जैसी तैयार फसलों का नष्ट होना किसानों के लिए आर्थिक और मानसिक रूप से बड़ा झटका मिला है।

ऐसे समय में सरकार और प्रशासन की यह जिम्मेदारी बनती है कि वे न केवल किसानों को तुरंत राहत दें, बल्कि भविष्य में होने वाली ऐसी आपदाओं से नुकसान को कम करने के लिए ठोस कदम उठायें। इसके लिए आपदा प्रबंधन, बीमा योजनाओं का विस्तार और फसल सुरक्षा के उपायों को और सशक्त करने की आवश्यकता है। सरकार का उद्देश्य है कि हर प्रभावित किसान तक सहायता समय पर पहुंचे, ताकि वे फिर से अपने जीवन और खेती-बाड़ी को सही तरीके और सुविधा के साथ कर सकें।

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