ICICI बैंक ने 1 अगस्त 2025 से नए बचत खाते खोलने वाले ग्राहकों के लिए न्यूनतम मासिक एवरेज बैलेंस (MAB) की सीमा बढ़ा दी है। मेट्रो और शहरी क्षेत्रों में यह राशि पहले ₹10,000 से बढ़ाकर अब ₹50,000 कर दी गई है। यह करीब 400% की बढ़ोतरी है। इस बदलाव का असर केवल नए खातों पर होगा। पुराने खाताधारक वर्तमान नियमों के तहत रहेंगे।
यदि ग्राहक निर्धारित न्यूनतम बैलेंस बनाए रखने में असफल रहते हैं, तो बैंक 6% की पेनल्टी या ₹500 (जो भी कम हो) वसूलेगा। इसके अलावा, ATM उपयोग, नकद जमा और निकासी पर भी नई शुल्क संरचना लागू की गई है, जिसमें मुफ्त ट्रांजेक्शन की सीमा घटा दी गई है।
90 फीसदी लोगों की मासिक आय ₹25,000 से कम
इस फैसले ने सोशल मीडिया और आम ग्राहकों के बीच नाराज़गी पैदा कर दी है। कई लोगों का कहना है कि देश में 90 फीसदी लोगों की मासिक आय ₹25,000 से कम है, ऐसे में ₹50,000 का बैलेंस बनाए रखना संभव नहीं है। वित्तीय विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम बैंकिंग को मध्यम और निम्न आय वर्ग के लिए कम सुलभ बना सकता है।
ICICI बैंक के शेयरों में गिरावट
घोषणा के बाद ICICI बैंक के शेयरों में करीब 1.2% की गिरावट दर्ज की गई। वहीं, RBI ने स्पष्ट किया है कि न्यूनतम बैलेंस तय करने का अधिकार बैंकों के पास है और इसमें केंद्रीय बैंक का सीधा हस्तक्षेप नहीं है।